लखनऊ में हुई मूसलाधार बारिश, विधानसभा परिसर में भरा पानी, नगर निगम की छत लीक
लखनऊ
उत्तर प्रदेश में उमस भरी गर्मी से बड़ी राहत मिली है। बुधवार को यूपी की राजधानी समेत आसपास के कई जिलों में बारिश का शिलशिला देखने को मिला। लखनऊ में पिछले 2 घंटे से लगातार बारिश हो रही है। तेज हवाओं के साथ बादल ऐसे छाएं हैं कि दिन में रात जैसा माहौल देखने को मिल रहा है। इसके अलावा जो वाहन सड़कों पर निकल रहें उन्हें लाइट जलानी पड़ रही है। वहीं कई जगहों पर जलभराव भी हुआ। इसमें हजरतगंज, चौक, ठाकुरगंज, ऐशबाग जैसे इलाकें शामिल हैं। बारिश का पानी विधानसभा परिसर और नगर निगम के दफ्तर में घुस गया। विधानसभा के गेट नंबर सात पर इतना पानी लग गया कि मुख्यमंत्री की फ्लीट को गेट नंबर 1 से बाहर निकाला गया।
दूसरी ओर, मुख्यमंत्री आवास के बाहर पार्क रोड पर जबरदस्त पानी भर गया है। सिविल अस्पताल रोड पर हुए जलभराव में वाहन बंद हो गए जिससे लोग पैदल जाने पर मजबूर हो गए हैं। हजरतगंज का मुख्य चौराहा तालाब बन गया है। पिछले 15 दिनों से शहर के लोगों को बारिश का इंतजार था और आज की बारिश ने पूरे शहर को भिगो दिया। हजरतगंज हो या गोमती नगर, सभी जगहों पर तेज बारिश ने लोगों को उमस भरी गर्मी से राहत दी। सुबह से ही मौसम बदल रहा था, बीच-बीच में धूप निकल आती थी, जिससे ऐसा लगा कि बारिश नहीं होगी। दोपहर बाद अचानक काले बादल छा गए और शहर में कई जगहों पर अंधेरा सा छा गया। इसके बाद झमाझम बारिश शुरू हो गई।
तीन दिनों तक बारिश के आसार
लखनऊ समेत आसपास के जिलों में अगले तीन दिनों तक बारिश के आसार हैं। ऐसे में जिला प्रशासन ने भी एडवाइजरी जारी की है। वहीं मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, बुधवार को शहर में आंशिक बादल छाए रहेंगे और बारिश की भी संभावना है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि प्रदेश के कुछ हिस्सों में बारिश हुई है और मानसून उत्तर की तरफ वापस लौट रहा है। ऐसे में अगले दो से तीन दिनों में बारिश की संभावना है। बता दें कि मंगलवार को तराई समेत पूर्वी और दक्षिणी उत्तर प्रदेश के कुछ इलाकों में हल्की बारिश हुई, जिससे लोगों को थोड़ी राहत मिली।
उत्तर प्रदेश विधानसभा परिसर में बारिश का पानी उस समय घुसा है, जब मॉनसून सत्र चल रहा है और सरकार और विपक्ष के नेता विधानसभा में मौजूद हैं. पहली बारिश ने ही लखनऊ नगर निगम के सारे दावों की पोल खोल कर रख दी है. सड़कों पर जलभराव से जनजीवन अस्त-वयस्त हो गया है. जलभराव से गाड़ियां तक रास्ते में बंद हो रही हैं. ऐसे में लोग पानी में ही अपनी गाड़ी को घसीट रहे हैं. इसी बीच विधानसभा परिसर में घुसे पानी की वजह से सीएम योगी को गेट नंबर-1 से विधानसभा से बाहर निकाला गया है., जिसकी तस्वीर इस समय खूब चर्चाओं में बनी हुई हैं.
नगर निगम और विधानसभा परिसर तक में घुसा पानी
जिस नगर निगम के ऊपर जलभराव नहीं होने देने का जिम्मा है, उसी लखनऊ नगर निगम के दफ्तर में पानी घुस आया है. ऐसे में नगर निगम के कर्मचारी दफ्तर से बाहर आ गए हैं और अपनी आंखों से नगर निगम के दावों की पोल खुलते हुए देख रहे हैं. बारिश के पानी ने विधानसभा तक को नहीं छोड़ा है. विधानसभा के बाहर तो जलभराव हो ही गया है तो वहीं बारिश का पानी विधानसभा के अंदर तक आ गया है. इसको लेकर समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता शिवपाल सिंह यादव ने भी तंज कसा है.
क्या बोले शिवपाल सिंह यादव?
सपा नेता शिवपाल सिंह यादव ने विधानसभा में पानी घुसने को लेकर कहा, बजट की सबसे अधिक आवश्यकता तो उत्तर प्रदेश विधानसभा को है. एक मूसलाधार बारिश में यह हाल है तो बाकी प्रदेश भगवान भरोसे है.
12,209 करोड़ रुपये का अनुपूरक बजट पेश
विधानमंडल के मानसून सत्र में मंगलवार को सरकार ने दोनों सदनों में वर्तमान वित्तीय वर्ष के लिए 12209.93 करोड़ रुपये का अनुपूरक बजट पेश किया। इसमें सर्वाधिक धनराशि 7566 करोड़ रुपये औद्योगिक विकास विभाग को दिए गए हैं। इससे प्रदेश में औद्योगिकीकरण की रफ्तार और तेज होगी। औद्योगिक विकास विभाग को आवंटित धनराशि में सर्वाधिक 5,664 करोड़ रुपये मेरठ से प्रयागराज तक प्रस्तावित गंगा एक्सप्रेसवे परियोजना के लिए दिए गए हैं।
ऊर्जा विभाग को 2,000 करोड़ रुपये व परिवहन विभाग के लिए 1,000 करोड़ रुपये का प्रविधान किया गया है। अनुपूरक बजट में युवाओं के कौशल विकास और रोजगार पर भी विशेष ध्यान दिया गया है। योगी सरकार अनुपूरक बजट से विकास कार्यों में 7981.98 करोड़ रुपये खर्च करेगी, जबकि राजस्व मद में 4227.94 करोड़ रुपये खर्च होंगे। अनुपूरक बजट में 319.95 करोड़ रुपये नई मांगों के लिए हैं।